चक दे इंडिया: भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने रचा इतिहास, 41 साल बाद जीता ओलंपिक पदक, जर्मनी को हराया

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टोक्यो ओलंपिक

41 साल बाद भारतीय हाकी ने इतिहास रचते हुये ओलिंपिक में कास्य पदक हासिल किया। आज हुये मैच में शुरूआती तौर पर जर्मनी ने पहले ही क्वार्टर में गोल कर बढ़त ले ली। तीन मिनट में जर्मनी टीम आक्रामक रही। उसके बाद भारतीय टीम ने मैच में वापसी की। वहीं भारत को पांचवें मिनट में पेनल्टी कॉर्नर मिला लेकिन रुपिंदर पाल सिंह गोल दागने से चूक गए। पहले क्वार्टर की समाप्ति के बाद स्कोर 1-0 रहा। लेकिन दूसरे क्वार्टर में सिमरनजीत सिंह ने गोल कर स्कोर 1-1 की बराबरी पर की। उसके बाद जर्मनी के निकलस वेलेन ने गोल कर टीम को एक बार फिर से 2-1 की बढ़त दिला दी। उसके कुछ ही मिनटों बाद जर्मनी ने एक और गोल दाग कर 3-1 की बढ़त ली। पर दूसरे क्वार्टर खत्म होने के पांच मिनट के अंदर भारत ने दो गोल कर स्कोर 3-3 की बराबरी की। भारत की ओर से दूसरा गोल हार्दिक सिंह ने पेनल्टी कॉर्नर पर दागा। वहीं हरमनप्रीत ने तीसरा गोल कर भारत को मुकाबले में 3-3 की बराबरी पर ला खड़ा किया।

उसके बाद भारतीय हाकी टीम ने लगातार दो और गोल दागकर 5-3 की बढ़त हासिल कर ली।
इसी बीच जर्मनी ने एक और गोल पेनाल्टी कार्नर से दाग कर वापसी की कोशिश की लेकिन इससे आगे नहीं बढ़ सकी