Big News Today पुरानी पेंशन स्कीम को लेकर नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने बीजेपी सरकारों पर सवाल खड़ा किया है। यशपाल आर्य ने कहा है कि केंद्र एवं सभी राज्यों के कर्मचारियों, शिक्षकों आदि के संगठनों की संयुक्त परिषद ने नवीन पेंशन स्कीम (एनपीएस) को एक धोखा करार दिया और ‘पुरानी पेंशन योजना’ (ओपीएस) को बहाल करने की निरंतर मांग कर रहे है। चालू वित्तीय वर्ष में भारतीय अर्थव्यवस्था सात प्रतिशत की अधिक वृद्धिदर हासिल करने की ओर अग्रसर है। आर्य ने कहा है कि वर्तमान परिदृश्य में पुरानी पेंशन लागू करने की आदर्श स्थिति है और यह सरकार के लिए आर्थिक, सामाजिक व राजनैतिक दृष्टि से बेहतर होगा।
वर्ष 2004 के बाद केंद्र एवं राज्य सरकार के नियमित कर्मचारियों की पुरानी पेंशन योजना बंद कर एनपीएस योजना का लाभ दिया जा रहा है, जो कि सेवानिवृत्त पर नाम मात्र का सहारा है।

नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने बयान जारी कर कहा कि कर्मचारी राज्य सरकार से काफी समय से पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने की मांग कर रहे हैं, लेकिन सरकार इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रही है। पुरानी पेंशन योजना यानी ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS) के तहत सरकार साल 2004 से पहले कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद एक निश्चित पेंशन देती थी। आर्य ने कहा कि यह पेंशन कर्मचारी के रिटायरमेंट के समय उनके वेतन पर आधारित होती थी। इस स्कीम में रिटायर हुए कर्मचारी की मौत के बाद उनके परिजनों को भी पेंशन का लाभ दिया जाता था.
यशपाल आर्य ने कहा कि सरकारी कर्मचारियों की पेंशन की समस्या का संतोषजनक समाधान जरूरी है। वर्षों से चली आ रही पुरानी पेंशन योजना एक कल्याणकारी सरकार की सामाजिक सुरक्षा की दृष्टि से अच्छी योजना थी। देश के अधिकांश सरकारी कर्मचारी, जिनको पुरानी पेंशन मिल रही है वह उनके ‘बुढ़ापे की लाठी’ के समान है। इससे उनमें आत्मनिर्भरता और आत्मसम्मान बना हुआ है। जब सेवानिवृत्त व्यक्ति कोई और काम करने की स्थिति में नहीं रहता, तब उसको अपने जीवन यापन के लिए किसी के सामने हाथ फैलाने की जरूरत न पड़े, इसके लिए पुरानी पेंशन जरूरी है। सरकार को पुरानी पेंशन देने पर गंभीरता से विचार करना चाहिए।
नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि कांग्रेस शासित छत्तीसगढ़, राजस्थान और हिमाचल प्रदेश की सरकार ने पुरानी पेंशन व्यवस्था को लागू कर दिया है। भाजपा शासित राज्यों में इसे लागू नहीं किया जा रहा है। जबकि कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी कई बार कह चुके हैं कि ओपीएस (ओल्ड पेंशन स्कीम) कर्मचारियों का हक है।