BIG NEWS TODAY : देहरादून। उत्तराखंड सरकार की मंत्रिमंडल की बैठक में राज्य में सशक्त भू-कानून संशोधन विधेयक को मंजूरी मिल गई है। इस भू-कानून संशोधन विधेयक को विधानसभा में चल रहे बजट सत्र में पेश किया जाएगा। प्राप्त जानकारी के अनुसार, राज्य में पहले से अस्तित्व में चल रहे भू-कानून में धामी कैबिनेट में कुछ संशोधन करके सख्त प्रावधान किए गए हैं। राज्य में देहरादून और विशेषतौर पर पर्वतीय इलाकों में कृषि भूमि की राज्य के बाहर के लोगों द्वारा खरीद-फरोख्त को देखते हुए एक सशक्त भू-कानून की मांग लगातार उठती रही है। पिछले दिनों भी इसको लेकर विभिन्न संगठनों द्वारा आवाज उठाई गई है।

कैबिनेट द्वारा सशक्त भू-कानून को मंजूरी देने को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रदेश की जनता की लंबे समय से उठ रही मांग और उनकी भावनाओं का पूरी तरह सम्मान करते हुए आज कैबिनेट ने सख्त भू-कानून को मंजूरी दे दी है। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि यह ऐतिहासिक कदम राज्य के संसाधनों, सांस्कृतिक धरोहर और नागरिकों के अधिकारों की रक्षा करेगा, साथ ही प्रदेश की मूल पहचान को बनाए रखने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि हमारी सरकार जनता के हितों के प्रति पूरी तरह से प्रतिबद्ध है और हम कभी भी उनके विश्वास को टूटने नहीं देंगे। इस निर्णय से यह स्पष्ट हो जाता है कि हम अपने राज्य और संस्कृति की रक्षा के लिए हरसंभव प्रयास करेंगे। निश्चित तौर पर यह कानून प्रदेश के मूल स्वरूप को बनाए रखने में भी सहायक सिद्ध होगा।
नए भू-कानून के प्रमुख प्रावधान!
1- पूर्व सरकार द्वारा 2018 में लागू किए गए प्रावधानों को नए कानून में किया समाप्त।
2- हरिद्वार व उधमसिंह नगर को छोड़कर राज्य के 11 अन्य जिलों में राज्य के बाहर के व्यक्ति कृषि बागवानी की भूमि नहीं खरीद पाएंगे।
3- पहाड़ी इलाकों में भूमि का सही उपयोग सुनिश्चित करने और अतिक्रमण रोकने के लिए चकबंदी और बंदोबस्ती की जाएगी।
4- जिलाधिकारी व्यक्तिगत रूप से भूमि खरीद की अनुमति नहीं दे पाएंगे।
5- जमीन खरीद के लिए पोर्टल बनाया जाएगा, ऑनलाइन पोर्टल से होगी भूमि खरीद की निगरानी।
6- बाहरी लोगों को जमीन खरीदने के लिए शपथ पत्र देना अनिवार्य, जिससे फर्जीवाड़ा-अनियमितताओं को रोका जा सके।
7- जिलाधिकारियों को राजस्व परिषद और शासन को नियमित रूप से भूमि खरीद से जुड़ी रिपोर्ट सौंपनी होगी।
8- नगर निकाय सीमा के अंतर्गत आने वाली भूमि का उपयोग केवल निर्धारित भू उपयोग के अनुसार ही किया जा सकेगा।
9- यदि किसी व्यक्ति ने नियमों के खिलाफ जमीन का उपयोग किया, तो वह जमीन सरकार में निहित हो जाएगी।
सशक्त भूकानून के ये होंगे फायदेः भूमाफिया नहीं खरीद पाएँगे मनमर्जी भूमि, बाहरी लोगों को राज्य की कृषि बागबानी और अन्य महत्वपूर्ण भूमि खरीदने पर रोक। राज्य की मूल स्वरूप को लेकर सरकार की बड़ी कोशिश है।